अगर कोई बात गले में अटक गई हो तो उगल दीजिये, मन हल्का हो जाएगा...
17.4.09
तुम्हारी जिद या मेरा नशा ...
अगर तूफ़ान में जिद है ... वह रुकेगा नही तो मुझे भी रोकने का नशा चढा है । देख लेगे तुम्हारी जिद या मेरा नशा ... किसमे कितनी ताकत है । तुम्हारी जिद से मेरा सितारा डूबने वाला नही । हम दमकते साए है । असर तो जरुर छोड़ेगे ।
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