मित्रों,
अपनी आदतन और बालसुलभ जिज्ञासाओं के समाधान के लिए सन्दर्भ श्रोत खोजने के लिए पहले भी मै भडास और भडासी बन्धुओं का सहयोग लेता रहा हूं सो उसी श्रृंखला मे एक और जिज्ञासा लेकर आपके समक्ष प्रस्तुत हूं। मुझे मेरे एक पूर्व अध्यापक और ज्योतिष के जानकार व्यक्ति ने बताया है कि उत्तर प्रदेश के देवरिया जनपद मे एक सज्जन रहतें है जिनका नाम पाठक जी के नाम से प्रसिद्द है इनका पूरा नाम वह भी नही जानतें है लेकिन यह बताया है कि देवरिया शहर के लोग पाठक जी के नाम से ही इन्हें जानते है।
पाठक जी के बारे मे पता चला है कि रावण द्वारा रचित फलित ज्योतिष का दूर्लभ ग्रंथ “रावण संहिता” की कुछ पांडुलिपियां इनके पास है और यें इसके माध्यम से लोगो को ज्योतिषीय परामर्श भी देते है।
यदि आपमे से कोई भडासी बन्धु देवरिया से संबन्धित रहा हो कैसे चाहे वहाँ का मूल निवासी हो अथवा सेवाकाल मे रहा हो और पाठक जी के विषय मे जानता हो तो कृपया इनके विषय मे अधिक जानकारी मुझे प्रदान करने की कृपा करें।
आपके माध्यम से यदि मुझे पाठक जी का फोन नम्बर अथवा आवासीय पता उपलब्ध हो जाए तो मुझे उनसे सम्पर्क करने मे सरलता रहेगी।
उम्मीद है पूर्व की भांति कोई सम्पर्क सुत्र अवश्य मिल ही जाएगा।
सादर
डा.अजीत
हरिद्वार
www.shesh-fir.blogspot.com
dr.ajeet82@gmail.com
अपनी आदतन और बालसुलभ जिज्ञासाओं के समाधान के लिए सन्दर्भ श्रोत खोजने के लिए पहले भी मै भडास और भडासी बन्धुओं का सहयोग लेता रहा हूं सो उसी श्रृंखला मे एक और जिज्ञासा लेकर आपके समक्ष प्रस्तुत हूं। मुझे मेरे एक पूर्व अध्यापक और ज्योतिष के जानकार व्यक्ति ने बताया है कि उत्तर प्रदेश के देवरिया जनपद मे एक सज्जन रहतें है जिनका नाम पाठक जी के नाम से प्रसिद्द है इनका पूरा नाम वह भी नही जानतें है लेकिन यह बताया है कि देवरिया शहर के लोग पाठक जी के नाम से ही इन्हें जानते है।
पाठक जी के बारे मे पता चला है कि रावण द्वारा रचित फलित ज्योतिष का दूर्लभ ग्रंथ “रावण संहिता” की कुछ पांडुलिपियां इनके पास है और यें इसके माध्यम से लोगो को ज्योतिषीय परामर्श भी देते है।
यदि आपमे से कोई भडासी बन्धु देवरिया से संबन्धित रहा हो कैसे चाहे वहाँ का मूल निवासी हो अथवा सेवाकाल मे रहा हो और पाठक जी के विषय मे जानता हो तो कृपया इनके विषय मे अधिक जानकारी मुझे प्रदान करने की कृपा करें।
आपके माध्यम से यदि मुझे पाठक जी का फोन नम्बर अथवा आवासीय पता उपलब्ध हो जाए तो मुझे उनसे सम्पर्क करने मे सरलता रहेगी।
उम्मीद है पूर्व की भांति कोई सम्पर्क सुत्र अवश्य मिल ही जाएगा।
सादर
डा.अजीत
हरिद्वार
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अब यह देवरिय मे नही बल्कि कुशिनगर मे है कसया से फ़ाज़िल्नगर जाने वाली सदक पर लग्भग 14 कि मी पर एक गाव है गुरवलिया जो सड्क के किनारे ही बसा हुआ है काफ़ी चर्चित गाव है इसी सम्हिता के कारण यही पाठ्क लोग रहते है इनमे से असली व पुरानी रावन सम्हिता वाले पाठ्क जी का नाम इस समय तो ध्यान नही आ रहा है लेकिन सड्क पर बोर्ड लगा हुआ है
ReplyDeleteजी अरूण जी सही कह रहे है। अब वो जगह कुशीनगर जिले में पड़ती है। और जिनके पास वो रावण संहिता थी उनका नाम बागेश्वरी पाठक था जो कि अब वो इस दुनिया में नहीं है अब उनके जगह पर उनके लड़के कामाख्या पाठक रावण संहिता देखने का काम करते है। आप कुशीनगर जिले के कसया रोड से फाजिलनगर की तरफ जायेंगे तो लगभग 14 किलोमीटर बाद रोड के बायीं तरफ बागेश्वरी पाठक का बोर्ड लगा हुआ है ध्यान रहे इसके अलांवा उस गांव अन्य दो लोग भी है जो कि उन्ही के खानदान के है और वो लोग भी अपने पास रावण संहिता के होने का दावा करते है जो कि गलत है।
ReplyDeletePathak ji ka num kabhi nhe milta h 2months say try kr rhi ho i need help its imp
DeleteHi, Pathak ji ka number Mila kya? Did you get a chance to visit?
DeleteADD.....SRI.KAMAKHYA PATHAK
ReplyDeleteVILL& PO..GURUWALIA
DISTT..KUSHINAGAR
MB.NO.09838821171
CONTECT TIMINGS..6:30 TO9:30 PM
ADD.....SRI.KAMAKHYA PATHAK
ReplyDeleteVILL& PO..GURUWALIA
DISTT..KUSHINAGAR
MB.NO.09838821171
CONTECT TIMINGS..6:30 TO9:30 PM
Timing is 6.30 AM to 9.30PM or its 6.30 PM to 9.30PM?
DeleteManish g no lagta Nani
DeleteBut as per my knowledge, his daughter is looking.
ReplyDeletePls I need help pathak Ji Ka num lgta nhe hai kaise baat kro pathak Ji say
ReplyDeleteKOI BATA SAKTA HAI KI PANDIT JI KIS DIN DEKHTE HAIN KUNDLI.
ReplyDeleteTUE.WED.THU.SAT.SUN
ReplyDeleteउमाशंकर उपाध्याय 20/12/1985 09/10am
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