भड़ास blog
अगर कोई बात गले में अटक गई हो तो उगल दीजिये, मन हल्का हो जाएगा...
10.5.11
reenakari: फिर कुछ ज्यादा तो वो भी कहा सह पाएगा,
reenakari: फिर कुछ ज्यादा तो वो भी कहा सह पाएगा,
: "आज एक पल लोट आया , कल जो बिता ,आज फिर मिला , एक मर्दाफा फिर जीलू , कल कुछ अपूर्ण था , आज फिर पूर्ण कर लू , जाना फिर है उसको , कुछ देर मुलाका..."
No comments:
Post a Comment
‹
›
Home
View web version
No comments:
Post a Comment