5.6.11

reenakari: चोटिल कर रहा है कोई !!!

reenakari: चोटिल कर रहा है कोई !!!: "मेरे लोकतंत्र में क्या हो रहा है ...कोई किसी तरह तो कोई किसी तरह इसे चोटिल कर रहा है कोई कितनी जोर से इस पर चोट कर रहा है.., यह तय करना ब..."

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