9.5.17
जहांगीराबाद निवासी संजय ओझा का बेटा निकला बाप से 10 हाथ आगे
बाप के नक्शे कदम पर चला बेटा, विधायक बन डीएम को हड़काने का मामला
जहांगीराबाद (बुलंदशहर)। आज के सभी प्रमुख समाचारपत्रों में प्रमुखता से छपी खबर में एक युवक द्वारा बीजेपी विधायक बन फ़ैजाबाद के जिलाधिकारी को हड़काने का मामला प्रकाशित हुआ है। लेकिन आधे लोगों ने यह खबर पढ़ी होगी आधों ने नहीं। अब इस खबर की ख़ास बात पर आते हैं, डीएम को हड़काने वाला यह युवक और कोई नहीं अपितु जनपद बुलन्दशहर के कस्बा जहांगीराबाद में रहने वाले एक तिकड़मबाज व्यक्ति संजय ओझा का ही सुपुत्र मयंक शर्मा है।
वैसे तो अब से कुछ समय पहले इस संजय ओझा और इसकी घर की महिलाओं के कारनामे भी प्रमुख अख़बारों में प्रकाशित हुए थे। लेकिन अब इस खबर को पढ़ने के बाद लगता है कि वो कहावत इन बाप बेटों ने चरितार्थ कर दी है कि- "बाप नम्बरी बेटा 10 नम्बरी।"
संजय ओझा नाम के इस व्यक्ति का इतिहास भी जहांगीराबाद सहित आस पास के इलाकों में हाईलाइट रहा है। चाहे कभी बसपा में शामिल रहे विधायक और वर्तमान में बीजेपी में विधायक पद पर आसीन एक नामचीन का नाम इस्तेमाल करने का मामला हो या जहांगीराबाद सहित कई मण्डियों के व्यापारियों के रुपयों की हेराफेरी का मामला हो यह संजय ओझा सभी कामों में शातिर है। हालाँकि इन्हीं कामों को लेकर कई बार संजय ओझा नाम का यह शख्स अपनी फजीहत भी करा चुका है।
वर्तमान में प्रकाश में आये ताज़ा मामले में लिप्त पाये गए संजय ओझा के सुपुत्र मयंक शर्मा ने भी बाप के गुणों को आत्मसात करने का प्रमाण दिया है। मयंक ने फ़ैजाबाद के डीएम को अनूपशहर विधायक संजय शर्मा बनकर फोन किया और हड़काया। जिसके बाद फैज़ाबाद डीएम विवेक कुमार ने विधायक संजय शर्मा से सम्पर्क साधा और मामले के बाबत जानकारी ली। जानकारी लेने पर विधायक संजय शर्मा से ज्ञात हुआ कि उन्होंने इस प्रकार का कोई भी फ़ोन करने से इनकार किया और उक्त युवकों के खिलाफ कानूनी कार्यवही करने को कहा। युवा अवस्था से ही मयंक में अपने पिता के तिकड़मबाजी के गुणों की छवि देखने को मिल रही है। बॉडी बिल्डिंग का शौक रखने वाले मयंक को शायद यह मालूम न होगा कि फर्जी विधायक बनना उसके लिए कितना महंगा साबित होगा। खैर मामला जो भी हुआ हो लेकिन इस घटना से यह तो साबित हो ही गया कि नगर को शायद एक और संजय ओझा भविष्य में मिलने वाला है। फिलहाल एनेक्सी के चौकीदार परमदेव तिवारी ने तीनों युवकों के नाम धोखाधड़ी का मुकदमा पंजीकृत कराया है। फ़िलहाल फर्जी विधायक बनने वाले तीनों युवक अभी जेल की हवा खा रहे हैं।
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