कल मै एक स्टोरी करने के लियें कानपुर नगर में स्थित एक वृद्धाश्रम गया था । वह कई वृद्ध थे जिनमें एक थी लगभग 60 वर्षीय राजमणि दुबे वह लगभग तीन माह पूर्व दिल्ली से रोहतास स्थित सुजानपुर के लिये चली थी लेकिन दुर्भाग्य वश वह कानपुर पहुंच गयी और यहां काफी भटकने के बाद वृद्धाश्रम पहुंच गयी । यहां पर वह काफी दुखी व परेशान सी दिख रही थी । यह जानकर की वहां पर अखवार वाले आये है तो पास आकर कहने लगी कि वह उनको (राजमणि दुबे)को उनके घर अपने बच्चों के पास पहुंचा दे यह कह कर व रोने लगी । वृद्धाश्रम के संचालक श्री छेदीलाल पाल के पास उन्होने जो पता बताया था उन्होने वह मुझे दे कर अनुरोध किया कि मै पता ढूंढने में मदद करू लेकिन वास्तव में मुझे भी पता नही है इसलियें मै उसे यहां डाल रहा हूं जिन भड़ासी भाईयों के पास जो कुछ जानकारी हो तो मेरे मेल एड्रेस awasthi.shashikant@gmail.com अथवा मेरे मोबाईल न. 09415068287 पर देने का कष्ट करे ।
श्रीमती राजमणि दुबे
पत्नी स्व.कैलाश दुबे,
ग्राम सुजानपुर
(कटार से एक किलोमीटर आगे)
पोस्ट-डिहरी
जिला - रोहतास
उनके पुत्रो के नाम क्रमश: रामप्रवेश,श्रीनिवास व रामबदन दुबे है ।
8.5.08
कृपया मदद करें ।
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3 comments:
अरे मेरे प्यारे भड़ासियों जरा सक्रिय हो जाओ, एक बूढ़ी हो चुकी मां की बात है,पता तो करिये कि इनके बेटों ने इनका पता क्यों नहीं किया या तलाश रहे हैं....
भाई लोगों,
ये बड़ा अहम् है, कृपया जो भी रोहतास से जुडे हों या जानकारी रखते हों. तुरंत सूचित करें. माताराम को जगह पर ले जाने में सार्थक पहल करें. छोटी बड़ी जो भी जानकारी हो कृपया भाई शशिकान्त अवस्थी भडासी को दें.
शशिकांत भाई, आपको धन्यवाद जो आपने ये पोस्ट डाली। ये आपकी संवेदनशीलता को दर्शाती है। भड़ास के सलाहकार के बतौर आपने जो ये नेक काम किया है, वो आपके ढेर सारे पुण्य देगा।
मैंने इस पोस्ट को एक विशेष सूचना के रूप में भड़ास के बिलकुल उपर बाईं ओर लगा दिया है।
अगर कोई डेवलपमेंट होता है तो जरूर उसे एक पोस्ट के रूप में डालियेगा और सभी भड़ासियों को सूचित करियेगा।
इस मामले में बिहार के जितने भी भड़ासी साथी हैं, वो काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं, इसके अलावा बिहार के पत्रकार लोग भी मदद कर सकते हैं।
यशवंत
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