वटवृक्ष: !! मां !!
जब कभी कश्ती मेरी सैलाब में आ जाती है
माँ दुआ करती हुई ख़्वाब में आ जाती है
6.10.10
वटवृक्ष: !! मां !!
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अगर कोई बात गले में अटक गई हो तो उगल दीजिये, मन हल्का हो जाएगा...
वटवृक्ष: !! मां !!
जब कभी कश्ती मेरी सैलाब में आ जाती है
माँ दुआ करती हुई ख़्वाब में आ जाती है
1 comment:
maa tujhey satsat naman..
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