18 महीनों से सहारा इंडिया मीडिया के कर्मचारी प्रबंधन के ज़ुल्म के शिकार हैं! प्रबंधन न तो टाइम पर सैलरी दे रहा है और ना ही ये फैसला कर रहा है की मीडिया को चलाना है या नहीं! पिछले एक साल से प्रबंधन कर्मचारियों को ये कह कर गुमराह कर रहा है की किसी बड़ी पार्टी मीडिया को टेकओवर कर रही है! अब अच्छे दिन आने वाले हैं! बीच में ये खबर आई कई दुबई की कोई कंपनी टेकओवर कर रही है! लेकिन ये बात भी हवा हवाई साबित हुई! इसके बाद उपेन्द्र राय की फिर से एंट्री हुई तो कर्मचारियों ने समझा की अब सब कुछ ठीक हो जायेगा!
एक महीना तो टाइम से सैलरी मिली लेकिन अब तो पहले से ज़्यादा बुरा हाल है! एक तरफ सेफ एग्जिट स्कीम लागू की गई है की आप लोग स्वतः की इस्तीफ़ा दे दें तो आपका पूरा हिसाब कर दिया जायेगा! दूसरी तरफ कुर्सी के लालायित और चापलूस लोगों की भर्ती जारी है! जिन कर्मचारियों पर आरोप थे उनको उपेन्द्र राय और SNB हेड रमेश अवस्थी फिर से अंदर कर रहे हैं! कानपुर यूनिट में सबसे पहले पंकज राय की वापसी हुई! इसके बाद विमल जेटली और भी लोग अंदर आने के लिए एड़ी चोटी का ज़ोर लगा रहे हैं! ये बात समझ से परे है की जब कंपनी के हालात ऐसे हैं कई कई महीने सैलरी नहीं मिल रही है तो फिर ऐसे कर्मचारी अंदर घुसने की कोशिश क्यों कर रहे हैं! इससे तो यही पता चलता है की प्रबंधन जानबूझ कर कर्मचारियों को परेशान कर रहा है!
7.3.16
सहारा मीडिया में सेफ एग्जिट स्कीम के बाद भी भर्ती चालू
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