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7.4.11

उदार नेता जी


उदार नेता जी
देश बेचकर खाने का जिस पर 
आरोप लगाते हैं ,
गठबंधन के वास्ते उससे भी 
हाथ मिलाते हैं ,
हम नेता हैं  देश के मांगें 
सबकी खैर ,
न काहू से दोस्ती न 
काहू से बैर .       

2 comments:

Shalini kaushik said...

vastav me aapme hi desh ka poora kalyan nihit hai.neta ji.
sateek v swasth vyangya.

तेजवानी गिरधर said...

वाह, मजा आ गया