पुलिस महकमा इतना नाकाम क्यूँ हैं ?
दिन दहाड़े हुए राधिका तंवर हत्याकांड ने मन को फिर एक बार झकझोर दिया हैं , व्यवस्था इतनी लचर क्यूँ हैं ? पुलिस महकमा इतना नाकाम क्यूँ हैं ?
पुलिस वाले मोटर साईकिल से पीछा करते हैं गाडी चलाते हुए मोबाईल पे बात करने वालो का , शरीफ सभ्रांत व्यापारियों , व्यवसायियों , नौकरीपेशा लोगो को तंग करते हैं / पर वही अपराधी उसी दिल्ली की सड़क पे काले सीसे वाली गाड़ी में बलात्कार करता फिरता हैं / क्या ज्यादा जरुरी हैं बिना ड्राइविंग लाईसेंस के गाड़ी चलने वाले को पकड़ना या जेब में रिवाल्वर लेकर चलने वाले को पकड़ना / क्यूँ दिल्ली की सडको से काली फिल्म चढ़ी सिसो वाली गाड़िया बे रोक टोक चल रही हैं / क्युकी उससे पुलिस वालो की आमदनी होती हैं / पुलिस वालो को शायद इससे कोई फर्क नहीं पड़ता की उन काले सिसो के पीछे क्या हो रहा हैं /
अपराधी सरे बाजार एक के बाद एक लडकियों के चेहरे पर चाकू से वार कर जाता हैं, तेज़ाब फेंक जाता हैं और पुलिस को अपराधी मिलता ही नहीं / आरुशी हत्याकांड पुलिस की निकर्मंयता का जीता जागता प्रमाण हैं / पुलिस को अपनी कार्यप्रणाली में सुधार लाना होगा / अपनी कार्यप्रणाली में प्राथमिकता तय करनी होगी / ऍफ़ आई आर लिखना केन्द्रीयकृत करना होगा / सभी थानों का computerisation करना होगा / घूसखोरी का त्याग करना होगा / पुलिस वालो को सभी तरह के अपराधी पकड़ने के लिए पुरस्कार का प्रचलन करना होगा /
4 comments:
पुलिस मुहकमे को कुछ मत कहिए... ब्लॉग पर प्रतिबंध लगाने की तैयारी हो रही है
पुलिस को अपनी कार्यप्रणाली में सुधार लाना होगा / अपनी कार्यप्रणाली में प्राथमिकता तय करनी होगी / ऍफ़ आई आर लिखना केन्द्रीयकृत करना होगा / सभी थानों का computerisation करना होगा / घूसखोरी का त्याग करना होगा / पुलिस वालो को सभी तरह के अपराधी पकड़ने के लिए पुरस्कार का प्रचलन करना होगा /
kaun karega ye sab sarkar ya janta ????????????????????????????????????????
Janta ya sarkar...........
Pahle sarkar ko mauka dete hain
Jab janta ki baari aayegi tab to kaam ho hi jayega
अन्याय हम करते है। उस अन्याय का पर्दापास पुलिस तो कर सकती है।पर हम खुद यह चाहते है की किसी तरह हमारी बात पर कोई पर्दा गिरे इसलिए हम चेक या जेक का सहारा लेते है तब पुलिस पर अघिकारी या किसी बङे नेता भारी दबाब पङता है तो पुलिस किसी स्थानांतरण या नौकरी खोन के भय से झुठ को सच एवमं सच को झुठा साबित करती है लेकिन यह पुरा सङयंत्र हमारा होता है। फिर किसी पुलिस वाले को दोष देना नाजायज है।
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