एक दिन रास्ते मैं मिल गई गरीबी
मेने पूछा क्या हाल हे बड़ी बी.......
बहुत दिन हो गय तुम्हे इंडिया मैं
कुछ दिनों के लिए मायके चली जाओ
विदेश जाकर आपनी माता जी से मिल आओ
गरीबी बोली मेरा तो इश देश से जनम जनम का नाता हैं
और मेरा नाम तो चुनाव लड़ने के काम आता हे
भला ऐसे भी कोई घर छोड़कर जाता हैं
और अगर मैं न रहूंगी तो ये किसे हटायेंगे
चुनाव लड़ना भूल जायंगे,
फिर वो मुस्कराई और बोली बेटा में एक पति व्रता नारी हु
इतनी आसानी से नहीं जाउंगी डोली में सबर जोकर आई थी
आपका जीत
कंधो पर सवार होकर जाउंगी
आपका -- जीत
6.9.09
भारत में गरीबी गरीबी नहीं एक पतिव्रता नारी हैं
Labels: chanakya
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3 comments:
कंधे पर सवार होकर जाउंगी
आपने बहुत ही सच्चाईको उजागर किया हैं परन्तु देखना यह हैं कि हमारे देश के नेताओं को कुछ शर्म आती हैं या नही
apne sahi farmaya hmare desh main gareebi ek pativrta nari hai jo kabhi sath nhi chhodegi apki kavita bahut achhi hai .
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