Bhadas ब्लाग में पुराना कहा-सुना-लिखा कुछ खोजें.......................

14.10.10

rasta

चल रहे हे साथ इस सफ़र में हम ,
की मंजिल लापता हे ,
जायेगा और ले जायेगा ये रास्ता किधर ,
न हमे कुछ पता हे ।
संगीता मोदी "शमा"

1 comment:

Dr Om Prakash Pandey said...

kuchha na samajhe bas yahee samajhe
hai ek umra mein wo bhi samajhe !