Bhadas ब्लाग में पुराना कहा-सुना-लिखा कुछ खोजें.......................

8.2.11

***तय है क़ानून की हार होगी***

फिर सजी महफिल आरूषी की,
फिर इंसानियत शर्मसार होगी,
फिर मुजरिमों को जीतना है,
तय है क़ानून की हार होगी............

जरा से  भी पेचीदा होंगे जो मसले,
या सरहदों पर होंगे जो हमले,
मिलेगी ना इनको कोई जानकारी,
फजीहत इनकी ऐसे ही हर वार होगी ..........

वो जो की स्वांग रचते श्रेष्ठता का,
सी बी आई है खुद को कहते,
करते जो नेताओं की जी हजूरी,
उनसे ये कस्ती कहाँ पार होगी...........

वो जिनके दिमागों को चाटी दीमक,
चमचागिरी का घुन जिनको लगा है,
इनके भरोसे जिन्हें इन्साफ की चाहत,
उनके लिए हर कली खार होगी..............

वो जिसने अनेको को कातिल बताया,
कभी मुझपे, कभी तुझपे निशाना लगाया,
करके खड़े हाथ कहा फिर ये उसने,
सी बी आई सर झुकाने को तैयार होगी.........



4 comments:

baddimag said...

yah aaj ke yug ki sachchai hai

भारत एकता said...

वन्दे मातरम भाई जी,
हौसला अफजाई के लिए आपका आभार......

भारत एकता said...
This comment has been removed by the author.
गोविंद गोयल, श्रीगंगानगर said...

--- चुटकी---

मंदिर हमने
बना दिए
श्रद्धालुओं की
लगी कतार ,
खाली झोली
लौट गए सब
मंदिर हुए व्यापार।