धीरु सिंह (dhirusingh71@gmail.com) जी,
आपने यहां जो जातिवादी पोस्ट डाली हुई थी, उसके बारे में जानकारी मिलते ही ब्लाग माडरेटर के नाते मैं इसको फौरन डिलीट कर रहा हूं। साथ ही, किसी व्यक्ति को लेकर निजी जातिवादी आक्षेप किए जाने जैसे गलत आचरण के कारण आपकी भड़ास से सदस्यता भी फौरन खत्म की जाती है।
मैं निजी तौर पर इस घटना से बेहद आहत और दुखी हूं।
भड़ास के सभी साथियों से अनुरोध करता हूं कि इस लोकतांत्रिक देश में लिखने की आजादी का सम्मान किया जाना चाहिए, न कि इस आजादी का अराजक इस्तेमाल किया जाना चाहिए। भड़ास का मतलब दूसरे का अपमान नहीं बल्कि खुद की निंदा, आलोचना और अपनी कुंठाओं का उगलना होना चाहिए जिससे मन मस्तिष्क स्वस्थ रह सके।
धीरू सिंह को मैं निजी तौर पर नहीं जानता लेकिन भड़ास की मेंबरशिप देने के पहले उनका मोबाइल नंबर और उनके डिटेल मंगा लिया गया था। उनका मोबाइल नंबर तो यहां नहीं दे रहा पर उनके बारे में इतना बताना चाहूंगा कि वे लगते तो पढ़े लिखे हैं क्योंकि उनके दो ब्लाग भी हैं, जिनके नाम हैं दरबार और खेती-किसानी।
मेरे बड़े भाई सरीखे और पत्रकारिता के गुरु रहे अनिल यादव जी से मैं पूरे भड़ास की तरफ से बिना शर्त माफी मांगता हूं।
इस कृत्य से मैं ही नहीं बल्कि पूरा भड़ास शर्मिंदा है।
यशवंत
9.9.08
आप की सदस्यता खत्म की जाती है
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16 comments:
galat baat ko kahne ka tareeka aur bhi jyada galat hai
galat baat ko kahne ka tareeka aur bhi jyada galat hai
main nahi janata aap kaun hain. lekin anil yadav ke bare me jati aadharit coment karake apne bare me sab kuchh bata diya hai. mr. dheeru aap bahut hi chhoti soch ke aadami ho. pahale anil yadav jaise aadami ke bare me theek se jaan lo.
vinod singh.
स्वतंत्रता का मतलब अगर धीरू भाई ने कुछ वैसा ही समझ लिया था जैसे कि राज ठाकरे समझता है तो फिर सदस्यता समाप्त कर देना ही सही निर्णय है। हम भड़ासी कितने भी बुरे माने जाते हों लेकिन जाति धर्म भाषा क्षेत्र जैसे विवादों से तो बहुत ऊपर हैं। भड़ास का सारा संचालक मंडल इस बात के लिये अनिल भाई से क्षमा चाहता है।
जय जय भड़ास
बिल्कुल सही डाक्टर साहब ....संचालक मंडल कीतरफ से अनिल जी से माफ़ी मांगते हुए धीरू के भडासी खानदान से निष्कासन पर अपनी सहमती देते हुए भड़ास से जुड़े लेखकों से निवेदन करता हूँ कि फाड़ना है तो जाती धर्म के ठीकेदार को फाडो....जो जात पात कि दिवार से उठ कर सोच रखता है कमसेकम उसकी इज्जत करो. क्यूंकि आज के वीभत्स दौर में यह जरुरी नही है कि हम सभी भडासी अपने आलेखों और उदगार के माध्यम से लोगों को जाती पाती कि संकीर्ण दीवार तोड़ने के लिए एकजुटता का परिचय दें.
अनिल जी से एक बार फ़िर क्षमा याचना के साथ
मनीष राज (मुख्य प्रवक्ता भड़ास)
mujhe nahi pata tha ek choti se mazak muje itnee mahangi padegi . adarniye Anil Yadav ka blog harmonium ka pathak hoon .unke yatra virtant aise lagte hai jaise hum saath he hai.
shayad phassi dene se pahle apradhi ko bhi apnee safai main kuch kahne diya jaata hai .aapne to ek hi jhatke main gerdan uda di.
mera adarniya yadav ji se bhi khana hai chota maan kar pahlee aur akhiri galti maaf kare jo mujh se anjaane main ho gai.aage se aise galti kise ke saath bhi na hogi. vaise hamary yahan ek khavat hai-
bimari ki jad khassi
ladai ki jad haasi
mujhe nahi pata tha ek choti se mazak muje itnee mahangi padegi . adarniye Anil Yadav ka blog harmonium ka pathak hoon .unke yatra virtant aise lagte hai jaise hum saath he hai.
shayad phassi dene se pahle apradhi ko bhi apnee safai main kuch kahne diya jaata hai .aapne to ek hi jhatke main gerdan uda di.
mera adarniya yadav ji se bhi khana hai chota maan kar pahlee aur akhiri galti maaf kare jo mujh se anjaane main ho gai.aage se aise galti kise ke saath bhi na hogi. vaise hamary yahan ek khavat hai-
bimari ki jad khassi
ladai ki jad haasi
भाई लोगों,आप सब देख रहे हैं कि धीरू भाई खुले तौर पर माफ़ी मांग कर स्पष्टीकरण दे रहे हैं कि उन्होंने मजाक करा था जो कि उन्हें भारी पड़ गया और वे सदस्यता की समाप्ति के निर्णय को एकतरफ़ा बता कर ये कह रहे हैं कि यह अलोकतांत्रिक बात है अब आप सब एक बार फिर से सिर भिड़ा कर गुटुर-गुटुर करिये कि क्या करा जाए.....
aisee maansikataa wale logon kaa yahi ilaz hai jo kiyaa gayaa hai aur main is se ittifaaq rakhta hun.
jai bhadas
maqbool
Dear yashwant ji,
Please see the below link and the advertisement next to it. It happens only in India.
http://in.reuters.com/news/pictures/cslideshow?sj=2008091004430.js&sn=Flood-affected
I am a bhadasi reader and I am requesting you to publish this post with link.
Thanks,
Abhishek
मै इस ब्लॉग को अभी कुछ ही दिन से पढ़ना शुरू कर रहा हूँ इसलिए धीरू के बारे में ज्यादा नही जानता पर इतना जरूर है की अगर वो माफी मांग रहे है और पहले इस ब्लॉग पर उनका contribution ठीक ठाक रहा है तो एक मौका इस शर्त के साथ देने में कोई बुराई नही है कि अगली गलती माफ़ नही की जायेगी.
वैसे उनके द्वारा की गयी टिप्पणी वास्तव में निंदनीय है.
मै इस ब्लॉग को अभी कुछ ही दिन से पढ़ना शुरू कर रहा हूँ इसलिए धीरू के बारे में ज्यादा नही जानता पर इतना जरूर है की अगर वो माफी मांग रहे है और पहले इस ब्लॉग पर उनका contribution ठीक ठाक रहा है तो एक मौका इस शर्त के साथ देने में कोई बुराई नही है कि अगली गलती माफ़ नही की जायेगी.
वैसे उनके द्वारा की गयी टिप्पणी वास्तव में निंदनीय है.
मित्रों शुक्रिया।
दोस्तों,
आप सब का शुक्रिया। आप जैसे लोगों की ही वजह से मुझ जैसे करोड़ों दलित,
पिछड़े, वंचित तबके में पैदा हुए लोगों का आदमियत, दोस्ती, लोकतंत्र में
यकीन बचा हुआ है।
धीरू की टिप्पणी भड़ास में क्या थी मैने देखी नहीं था। एक टिप्पणी
उन्होंने हारमोनियम पर की थी जिसे -जस का तस- मैने यात्रा की यात्रा-२ के
नीचे कमेंट बाक्स में लगा दिया था क्योंकि अब ऐसी चिकोटियों से मुझे फर्क
नहीं पड़ता। दरअसल यही झेलने-समझने की प्रक्रिया में निर्मित हुआ हूं।
अब जबकि धीरू ने लिखित के अलावा फोन पर भी माफी मांग ली है तो इस मसले को
आगे खींचने का कोई औचित्य नहीं लगता। मेरा आग्रह है कि उनकी भड़ास से
सदस्यता ( कम से कम इस टिप्पणी के कारण) न समाप्त की जाए क्योंकि तभी
उन्हें लगेगा कि भड़ास के साथियों ने उनकी पश्चाताप भावना का सम्मान किया
है।
धन्यवाद।
यादव अनिल
चलो लगे हाथ यह भी जान लिया कि एनानिमस कौन है।
dada. anilji se sabhi bhadasiyon ki or se mafi magne ke liye aapka dhanybad.
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