Innocent Shayaries by 12 Year old RAJU GUIDE.
http://www.youtube.com/watch?v=9h19PFNbqlc&feature=youtu.be
अगर चाय में पत्ती नहीं तो
पीने का क्या मज़ा और
साथ में गाईड नहीं तो
घूमने का क्या मज़ा ।
चप्पल है छोटी तो
पैर में नहीं आती और
अंकल की बीवी मोटी तो
बग़ल में नहीं आती ।
अगर अत्तर की शीशी को
पत्थर से फोड़ दूँ और
जिन्सवाली मिल जाए तो
साड़ीवाली को छोड़ दूँ ।
अगर फूल को लेंगें तो
काँटा तो लगेगा और
लड़की को छेड़ेगें तो
छांटा तो उड़ेगा ।
अगर किचड़ है, पैर ड़ालोगे,
धोना तो पड़ेगा और
ड्राइवर से शादी करोगे तो
घूमना तो पड़ेगा ।
दिल्ली में घूमता तो
हेमामालिनी मिलती और
जिस की याद में घूमता हूँ
वो घरवाली नहीं मिलती ।
अगर काँच का बंगला है तो,
पत्थर कैसे मारुँ और
अमीर की बेटी है तो
आँख कैसे मारुँ ।
सिंगल बाय सिंगल वाले
नाराज़ मत होना और
अब की बार आयेंगे तो
टू बाय टू कपल में आना ।
मेहनत करते हैं
एन्गल बदल-बदल के
और
उसके बाप ने पिटा
सेन्डल बदल-बदल के ।
जाम पर जाम पीने से,
क्या फायदा,
शाम को पीएगें तो,
सुबह उतर जाएगी,
और हरि नाम का प्याला पीयेंगे
तो
आखी ज़िंदगी सुधर जाएगी ।
शायर - राजू गाइड़ ।
उम्र- क़रीब १२ साल.
स्थान- अचल गढ़ - माउन्ट आबु पर्वत -राजस्थान.
मार्कण्ड दवे। (एम.के.टीवी फिल्म्स ।)
1 comment:
ऐसी 'कविताएँ' पचासों साल से चली आ रहीं हैं
आपने इन्हें छाप कर अपनी साईट को गिराया है
इन पर कुछ भी कहना इन्हें मान्यता देना है .
क्षमा
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